पर्वतीय (पथरीली) मिट्टी
- यह मिट्टी अरावली पर्वतमाला के ढालों पर सिरोही, उदयपुर, राजसमन्द, डूंगरपुर, चित्तौड़गढ़, अजमेर एवं भीलवाड़ा जिलों के चराई पर्वतीय भागों में मिलती है।
- इस मिट्टी की गहराई कम होने के कारण यह कृषि के लिए अनुपयुक्त है।
- राजस्थान सरकार के कृषि विभाग ने मिट्टियों को उर्वरता के आधार पर 14 भागों में बाँटा है।
- मिट्टियों का रासायनिक तत्त्वों के आधार पर नई पद्धति में वर्गीकरण अमेरिकी वैज्ञानिकों ने किया है। राज्य में इस वर्गीकरण के अनुसार पाँच प्रकार की मिट्टियाँ पाई जाती हैं
- एरिडीसोल्स (शुष्क मिट्टी)।
- अल्फीसोल्स (जलोढ़ मिट्टी)।
- एन्टीसोल्स (पीली-भूरी मिट्टी)।
- इन्सेप्टीसोल्स (आद्र मिट्टी)।
- वर्टीसोल्स (काली मिट्टी।
राजस्थान में लगभग 7.2 लाख हेक्टेयर भूमि क्षारीय है। इसका विस्तार खासतौर पर जोधपुर, पाली, भीलवाड़ा, अजमेर, भरतपुर, टोक, नागौर, सिरोही, जालोर, बाड़मेर एवं चित्तौड़गढ़ जिलों में है।
क्षारीय भूमि को लवणीय, नमकीन, ऊसर एवं रेही (रेह) के नाम से भी जाना जाता है। सोडियम कार्बोनेट, सोडियम सल्फेट एवं सोडियम क्लोराइड के साथ कैल्सियम एवं मैग्नीशियम क्षारों के मिश्रण से रेह बनती है।
ऊसर भूमि को सधारने के लिए गोबर का खाद, उडद, ग्वार या शालगाई व जिप्सम (खडी) का प्रयोग किया जाता है
stony soil
- This soil is found on the slopes of the Aravalli ranges in the grazing mountainous parts of Sirohi, Udaipur, Rajsamand, Dungarpur, Chittorgarh, Ajmer and Bhilwara districts.
- Due to the low depth of this soil, it is unsuitable for agriculture.
- The Agriculture Department of the Government of Rajasthan has divided the soils into 14 parts on the basis of fertility.
American scientists have classified soils on the basis of chemical elements in a new method. According to this classification, five types of soils are found in the state.
- eridisols (dry soil).
- Alfisols (alluvial soil).
- Antisols (yellow-brown soil).
- Inceptisols (moist soil).
- Vertisols (black soil.
About 7.2 lakh hectares of land in Rajasthan is alkaline. Its expansion is especially in the districts of Jodhpur, Pali, Bhilwara, Ajmer, Bharatpur, Tok, Nagaur, Sirohi, Jalore, Barmer and Chittorgarh.
Alkaline land is also known as saline, salty, osar and rehi (reh). Salt is formed by mixing calcium and magnesium bases with sodium carbonate, sodium sulfate and sodium chloride.
Manure of cow dung, urad, guar or shalgai and gypsum (khadi) are used to improve the waste land.